मैनाटांड़ में प्रसव के दौरान महिला की मौत, परिजनों ने डॉक्टर पर लगाया लापरवाही का आरोप

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रमेश ठाकुर के साथ अब्दुल बासित, मैनाटांड़(प० चंपारण)
दिनांक:- 12-05-2025

मैनाटांड़ प्रखंड के सुखलही गौरीपुर गांव में एक दर्दनाक घटना ने पूरे क्षेत्र को झकझोर कर रख दिया। 22 वर्षीय प्रेम शिला देवी, पत्नी संजय कुमार की मौत मैनाटांड़ स्थित राजलक्ष्मी निजी नर्सिंग होम में प्रसव के दौरान हो गई। परिजनों का आरोप है कि यह मौत चिकित्सकीय लापरवाही का नतीजा है। घटना के बाद से गांव में शोक और आक्रोश का माहौल व्याप्त है। सूत्रों के अनुसार, रविवार सुबह प्रेम शिला देवी को अचानक तेज प्रसव पीड़ा हुई, जिसके बाद परिजन उन्हें राजलक्ष्मी नर्सिंग होम लेकर पहुंचे। परिजनों का कहना है कि अस्पताल में न तो कोई विशेषज्ञ स्त्री रोग विशेषज्ञ मौजूद था और न ही कोई इमरजेंसी मेडिकल सुविधा उपलब्ध थी। इलाज के दौरान महिला की हालत लगातार बिगड़ती गई, लेकिन अस्पताल प्रबंधन द्वारा कोई गंभीर प्रयास नहीं किया गया। मृतका के पति संजय कुमार ने बताया कि जब स्थिति बिगड़ने लगी, तब भी अस्पताल स्टाफ ने उन्हें गुमराह किया और समय पर बेहतर अस्पताल रेफर नहीं किया। संजय कुमार ने कहा, “अगर समय रहते सही इलाज होता और डॉक्टरों की टीम सतर्क रहती, तो मेरी पत्नी की जान बचाई जा सकती थी। इस घटना से क्षुब्ध ग्रामीणों और सामाजिक संगठनों ने अस्पताल प्रबंधन के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। स्थानीय लोगों ने प्रशासन से मांग की है कि ऐसे निजी अस्पतालों की सघन जांच हो और जिन अस्पतालों में अनुभवहीन स्टाफ और न्यूनतम सुविधाएं हैं, उन्हें तत्काल बंद किया जाए।घटना की जानकारी मिलते ही मैनाटांड़ थाना पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। थाना प्रभारी ने बताया कि परिजनों की ओर से लिखित शिकायत मिलने पर प्राथमिकी दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है। उन्होंने आश्वासन दिया कि जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।बताते चलें कि प्रेम शिला देवी अपने पीछे दो छोटे बच्चों को छोड़ गई हैं, जिनका अब भविष्य अनिश्चितता में घिर गया है। इस हृदयविदारक घटना ने एक बार फिर ग्रामीण क्षेत्रों में चल रहे निजी अस्पतालों की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।

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