साइबर अपराध पर लगाम लगाने के लिए हो रहा है मुकम्मल इंतजाम : एसपी

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मीडिया की कलम से निकलने वाली चेतावनी, किसी सरकारी पोस्टर से कई गुना असरकारी होती है

उत्तर प्रदेश से अमित कुमार शर्मा की रिपोर्ट

जौनपुर । जिले की कानून-व्यवस्था को और अधिक प्रभावी व जनोन्मुखी बनाने के उद्देश्य से पुलिस अधीक्षक डॉ कौशतुभ की पहल पर मंगलवार को पुलिस लाइन सभागार में जनपद के पत्रकारों के साथ एक संवादात्मक बैठक का आयोजन किया गया। यह संवाद न सिर्फ सौहार्दपूर्ण रहा, बल्कि पुलिस और मीडिया के बीच भरोसे और सहभागिता की नई नींव भी डाल गया।
बैठक की शुरुआत करते हुए पुलिस अधीक्षक ने कहा कि साइबर अपराध अब चुनौती बन गया है, इससे निपटने के लिए नए साइबर थाने का निर्माण पुलिस लाइन कैंपस में किया जा रहा है। इसमें दो सेल बनाया जाएगा,जिसमें पीड़ितों की एफआईआर दर्ज करके उन्हें न्याय दिलाया जाएगा। एसपी ने बताया कि अपराध और अपराधियों पर लगाम लगाने के लिए चौराहों और भीड़भाड़ वाले इलाकों में उच्च क्वालिटी के सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे, और उन्होंने व्यापारियों से भी अनुरोध किया कि वे लोग दुकानों के बाहर भी सीसीटीवी कैमरे लगवाए।

बैठक के दौरान कानून-व्यवस्था को लेकर गहन चर्चा हुई। पुलिस अधीक्षक ने कहा कि अपराधों पर नियंत्रण के लिए मीडिया से समयबद्ध सूचना आदान-प्रदान अत्यंत आवश्यक है। उन्होंने पत्रकारों से आग्रह किया कि वे जमीनी स्तर की समस्याएं, संदिग्ध गतिविधियां या सामाजिक विकृतियों को बेझिझक सामने लाएं ताकि प्रशासन त्वरित कार्रवाई कर सके। आपकी एक खबर कई लोगों को सुरक्षित कर सकती है, एक तस्वीर एक बड़ी साजिश को उजागर कर सकती है।

उन्होंने कहा। बैठक में आधुनिक समय की सबसे बड़ी चुनौतियों जैसे साइबर अपराध, नशे की प्रवृत्ति, युवाओं में अपराध प्रवृत्ति और महिलाओं की सुरक्षा जैसे विषयों पर विशेष रूप से विचार-विमर्श हुआ। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि पुलिस विभाग इन मुद्दों पर जन-जागरूकता अभियान चलाता है, लेकिन यदि मीडिया का सहयोग मिले तो इन अभियानों की पहुंच घर-घर तक हो सकती है। मीडिया की कलम से निकलने वाली चेतावनी, किसी सरकारी पोस्टर से कई गुना असरकारी होती है।

बैठक में ट्रैफिक जागरूकता को लेकर भी चिंता जताई गई। एसपी ने कहा कि यातायात नियमों की अनदेखी, खासकर युवाओं में बढ़ती लापरवाही, एक गंभीर चिंता का विषय है। इस पर मीडिया जनजागरूकता के माध्यम से समाज में जिम्मेदारी का भाव जगा सकती है।

बैठक में उपस्थित पत्रकारों ने पुलिस प्रशासन की इस पहल की सराहना की और कहा कि संवाद की यह संस्कृति भरोसे, पारदर्शिता और सहयोग का वातावरण बनाएगी। उन्होंने भी कई जमीनी समस्याओं की ओर ध्यान आकृष्ट कराया और सुझाव दिए कि थाना स्तर पर भी संवाद बैठकों का आयोजन होना चाहिए।

बैठक के समापन पर पुलिस अधीक्षक ने सभी पत्रकारों का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि आपका सुझाव, आपकी जानकारी और आपकी आलोचना — तीनों ही हमें बेहतर बनाती हैं। हम विश्वास दिलाते हैं कि समाज की बेहतरी के लिए मीडिया और पुलिस साथ-साथ कार्य करते रहेंगे।

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